NTPC (नेशनल थर्मल पावर कॉरपोरेशन) जल्द ही अपने पहले परमाणु रिएक्टर पर काम शुरू करने वाली है। कंपनी के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक गुरदीप सिंह ने जानकारी दी है कि अगले एक महीने में इस परियोजना पर काम शुरू हो जाएगा। इसके लिए NTPC विभिन्न भारतीय राज्यों के साथ साइटों की तलाश में है, जहां परमाणु ऊर्जा परियोजनाएं स्थापित की जा सकें।
NTPC का परमाणु ऊर्जा में प्रवेश
NTPC और NPCIL (न्यूक्लियर पावर कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड) मिलकर 4×700 मेगावाट की परमाणु परियोजना तैयार कर रहे हैं। राजस्थान के माही बांसवाड़ा में यह परियोजना शुरू होने जा रही है। गुरदीप सिंह ने बताया कि दो महीनों के भीतर इस परियोजना का शिलान्यास हो जाएगा। NTPC ने “NTPC न्यूक्लियर पावर कंपनी” के नाम से एक नई सहायक कंपनी बनाने का भी निर्णय लिया है, जो भविष्य में इस क्षेत्र में कंपनी की भूमिका को और अधिक मजबूत करेगी।
परमाणु ऊर्जा परियोजनाएं
NTPC और NPCIL ने पहले ही भारतीय डिज़ाइन वाले 700 मेगावाट के PHWR (प्रेसराइज्ड हैवी वॉटर रिएक्टर) रिएक्टरों के विकास के लिए एक संयुक्त उद्यम समझौता किया है। माही बांसवाड़ा की चार इकाइयाँ उन दस इकाइयों में शामिल हैं जिन्हें पहले ही “फ्लीट मोड” में निर्माण के लिए प्रशासनिक और वित्तीय मंजूरी मिल चुकी है।
NTPC का परमाणु ऊर्जा क्षेत्र में प्रवेश न केवल देश के ऊर्जा सेक्टर के लिए बड़ा कदम है, बल्कि इसका सकारात्मक असर कंपनी के शेयरों पर भी देखने को मिल सकता है। परमाणु ऊर्जा एक महत्वपूर्ण और स्थिर ऊर्जा स्रोत है, जो भविष्य में NTPC की आय को स्थिरता प्रदान कर सकता है। परमाणु ऊर्जा परियोजनाएं लॉन्ग टर्म में मुनाफे की संभावना रखती हैं, और इससे कंपनी की क्षमता में भी बढ़ोतरी होगी।
NTPC के शेयरों पर असर:
- लॉन्ग-टर्म प्रॉफिटेबिलिटी: परमाणु ऊर्जा परियोजनाएं लंबे समय तक चलने वाली और भरोसेमंद होती हैं। इससे कंपनी को एक स्थिर और दीर्घकालिक मुनाफा हो सकता है। इससे शेयरधारकों का विश्वास बढ़ेगा, जिससे शेयर की मांग और कीमत में वृद्धि संभव है।
- सरकारी समर्थन: सरकार द्वारा परमाणु ऊर्जा परियोजनाओं को समर्थन मिलने से निवेशकों के बीच विश्वास बढ़ता है। सरकारी समर्थन से निवेशकों को यह यकीन होता है कि कंपनी की योजनाएं सुरक्षित हैं और उसमें जोखिम कम है।
- विविध पोर्टफोलियो: NTPC का परमाणु ऊर्जा में प्रवेश कंपनी के पोर्टफोलियो को और विविध बनाएगा। कंपनी अब केवल थर्मल पावर पर निर्भर नहीं रहेगी, बल्कि उसका आधार व्यापक होगा। इससे कंपनी के शेयरों की स्थिरता में वृद्धि हो सकती है।
- नए निवेशकों की दिलचस्पी: NTPC का इस नए क्षेत्र में प्रवेश नए निवेशकों को आकर्षित कर सकता है, खासकर उन निवेशकों को जो लॉन्ग-टर्म ग्रोथ की तलाश में रहते हैं।
- शॉर्ट टर्म में मामूली उतार-चढ़ाव: चूंकि यह एक नई पहल है और निवेशकों के बीच इसकी सफलता को लेकर कुछ समय तक अनिश्चितता बनी रह सकती है, इसलिए शुरुआती चरण में कुछ उतार-चढ़ाव देखने को मिल सकते हैं। लेकिन, परियोजनाओं के सफल संचालन के साथ यह प्रभाव कम हो जाएगा।
NTPC शेयरों के लिए संभावित अवसर:
ऊर्जा क्षेत्र में अग्रणी: NTPC का परमाणु ऊर्जा में कदम रखने का मतलब है कि कंपनी देश के ऊर्जा क्षेत्र में और भी प्रमुख भूमिका निभाएगी, जिससे इसका मार्केट शेयर और बढ़ेगा। लॉन्ग-टर्म निवेशकों को इसमें खासा फायदा हो सकता है, क्योंकि परमाणु ऊर्जा जैसी परियोजनाएं लंबे समय तक स्थिर रिटर्न देती हैं।