यूएई और सऊदी अरब जैसे देशों में रहने वाले भारतीय अपने घर भारत में ढ़ेर सारा पैसा भेज रहे हैं. इसकी सबसे बड़ी वजह है कि इन दिनों भारतीय रुपए में गिरावट दर्ज की गई है. यूएई की करेंसी AED के मुकाबले रुपए काफी कमजोर हो गया है. यूएई की करेंसी एक AED की कीमत तकरीबन 23.5 रुपए हो गई है.
AED-INR ट्रांजैक्शन्स में जबरदस्त तेजी
गल्फ न्यूज की एक रिपोर्ट की माने तो भारत के रुपये की कीमत कम होने की वजह से NRI (नॉन-रेजिडेंट इंडियन्स) फटाफट पैसे भेजने में जुट गए हैं. 19 जून, गुरुवार से AED-INR ट्रांजैक्शन्स में जबरदस्त तेजी देखी जा रही है. करेंसी एक्सचेंज हाउस के ऑफिसर्स ने जानकारी दी कि NRI अब और वैल्यू गिरने का इंतजार नहीं कर रहे, जिनके पास थोड़ा-सा भी पैसा है, वे तुरंत भारत ट्रांसफर कर रहे हैं. यूएई के एक बड़े एक्सचेंज हाउस के ऑफिसर ने गल्फ न्यूज को जानकारी दी कि बीते गुरुवार AED-INR मेंहा पैसे भेजने के लिहाज से काफी बेहतर रहा है. उन्होंने ये भी कहा कि रुपया थोड़ी देर के लिए 23.46 तक स्ट्रॉन्ग हुआ था, लेकिन ज्यादातर NRI ने रेमिटन्स भेजना जारी रखा.
रुपए की कमजोरी ने तोड़ा पैटर्न
हर साल खाड़ी देशों में रह रहे भारतीय प्रवासियों की पैसे भेजने की मात्रा कम हो जाती है लेकिन इस साल रुपए की कमजोरी ने इसका पैटर्न तोड़ दिया है. वीकेंड में भी रेमिटन्स का फ्लो स्टेडी रहा और सोमवार तक इसके स्ट्रॉन्ग रहने की उम्मीद है. एक्सचेंज हाउस के ऑफिसर्स का कहना है कि यदि रुपया और कमजोर होता है या जुलाई में वैल्यू और गिरती है, तो NRI को इससे डबल फायदा होगा. एक ऑफिसर ने कहा कि अगर रेट्स ऐसे ही रहते हैं या और डाउन जाते हैं, तो ये NRI के लिए गोल्डन चांस होगा.




