भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने मंगलवार को कहा कि 6 मई के आसपास दक्षिण-पूर्व बंगाल की खाड़ी के ऊपर एक चक्रवात बनने और इसके परिणामस्वरूप अगले 48 घंटों में कम वायु दाब का क्षेत्र विकसित होने की संभावना है। अमेरिकी मौसम पूर्वानुमान प्रणाली ग्लोबल फोरकास्ट सिस्टम (GFS) और यूरोपीय सेंटर फॉर मेडियम-रेंज वेदर फोरकास्ट्स (ECMWF) द्वारा बंगाल की खाड़ी के ऊपर एक चक्रवात बनने का पूर्वानुमान व्यक्त किए जाने की रिपोर्ट के बाद आईएमडी का यह बयान आया है।
IMD के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्रा ने कहा कि कुछ प्रणालियों ने इसके एक चक्रवात होने का पूर्वानुमान जताया है। हम नजर रख रहे हैं। नियमित रूप से अद्यतन जानकारी उपलब्ध कराई जाएगी। मौसम का पूर्वानुमान करने वाली निजी एजेंसी स्काईमेट वेदर ने कहा कि मई 2023 के प्रथम पखवाड़े में कोई चक्रवाती तूफान आने की संभावना बहुत कम है। इस चक्रवात का असर पूर्वी भारत से लेकर बांग्लादेश और म्यांमार तक रहने के आसार हैं। बता दें कि अप्रैल में, हिंद महासागर में कोई चक्रवाती तूफान विकसित नहीं हुआ। इस तरह, यह लगातार चौथा साल है जब पिछले महीने चक्रवाती तूफान नहीं आया।
नवीन पटनायक ने किया अलर्ट
मौसम विभाग की भविष्यवाणी के बाद मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने अधिकारियों को संभावित ग्रीष्मकालीन चक्रवात से निपटने के लिए सतर्क रहने का निर्देश दिया। चक्रवाती तूफान फानी की याद दिलाते हुए पटनायक ने अधिकारियों से संभावित ग्रीष्मकालीन चक्रवात से निपटने के लिए सभी तैयारियां पहले से करने को कहा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि गर्मियों में आने वाले चक्रवात का आकलन बहुत कठिन होता है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को बचाव, पुनर्वास और राहत अभियान के लिए आवश्यक दवाओं और उपकरणों को पहले से ही स्टॉक करने तथा योजनाओं को तैयार करने की भी सलाह दी।