एक नजर पूरी खबर
- यूएी में कोरोना वैक्सीन के परिक्षण का तीसरा चरण
- यूएई के आला अधिकारियों ने और अधिक वॉलिंटियर्स के लिए किया मना
- लोगों से की कोरोना नियमों के तहत लागू बातों का ध्यान रखने की अपील
यूएई इन दिनों कोविड-19 परीक्षण के तीसरे चरण से गुजर रहा है। ऐसे में यूएई के आला अधिकारियों ने कहा कि कोविड-19 टेस्ट के वैक्सीन जांच के लिए अब और अधिक वॉलिंटियर्स की आवश्यकता नहीं है। ऐसे में अब यह सवाल गहराने लगा है कि क्या की वैक्सीन बन चुकी है? आखिर क्यों यूएई ने कोरोना वैक्सीन की जांच पर रोक लगा दी है?
गौरतलब है कि यूएई सरकार के प्रवक्ता डॉ उमर अल हमादी ने सोमवार को वर्चुअल प्रेस वार्ता के दौरान कहा कि देश में चल रहे टीका परीक्षण मानवीय कार्य का काम हो गया है और सरकार को उम्मीद है कि यह सफल होगी और महामारी को खत्म करने में मदद मिलेगी।
उन्होंने कहा कि “वैक्सीन खोजने का अंतिम लक्ष्य बीमारी को पूरी तरह से खत्म करना है,”। “वैक्सीन का उपयोग करके चेचक को पूरी तरह से खत्म करने में मनुष्य सफल रहा है। वहीं कोरोना के मामले में भी पोलियो के टीके काफी हद तक सफल रहे हैं और ऐसे में हमारी जांच इससे छुटकारा पाने के करीब है।”
अल हम्मादी ने कहा कि कुछ टीके, जैसे कि खसरा, मानव शरीर के लिए दीर्घकालिक प्रतिरक्षा बनाते हैं जबकि अन्य, जैसे कि इन्फ्लूएंजा, अल्पकालिक प्रतिरक्षा बनाते हैं। ऐसे में “जब वायरस अपनी रचना और हमले को बदलने की कोशिश करता है, तो उसे एक नया टीका विकसित करने या इसे नवीनीकृत करने से रोकता है, जिससे इसके प्रसार में गिरावट आती है।
वहीं उन्होंने लेजर आधारित प्रौद्योगिकी परीक्षण के बारे में बताते हुए कहा कि कोविड-19 एंटीबॉडी परीक्षण एक रक्त परीक्षण है जो यह बताता है कि किसी व्यक्ति को वायरस का पिछला संक्रमण था या नहीं इसके जरिए इस बात की जांच करना भी आसान होगा। साथ ही यह व्यक्ति के कोरोना संक्रमित होने के मामले की भी पुष्टी करता है।
अल हम्मादी ने कहा कि संयुक्त अरब अमीरात में अभी कोरोना के जितने मामले हैं वे ज्यादातर सामाजिक और पारिवारिक समारोह के चलते बढ़े हैं। ऐसे में सार्वजनिक स्थानों पर लोगों से अब सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना, मास्क पहनने आदि की अपील की जा रही है।GulfHindi.com