कोरोनर महामारी के शुरुआती दौर में भारत में तब्लीगी जमात को लेकर मीडिया से भरपूर प्रदर्शन प्रस्तुत किया गया था जिसमें इस समुदाय के लोगों को ख़ास मक़सद से देश को बर्बाद करने का ज़िम्मेदार ठहराया गया था इसके वजह से अरब देशों में भारतीय लोगों के ऊपर शिकंजा कस दिया गया और सोशल मीडिया पर कुछ भी ग़लत पोस्ट करने पर दुबई कुवैत सऊदी अरब और क़तर जैसे देशों में भारतीय कामगारों की गिरफ्तारियां हुई और उनके ऊपर जुर्माना भी लगाया गया.

Corona Outbreak: Bombay HC to work only for 2 hrs, Subordinate Courts not more than 3 hrs. Circular issued

अब इस मसले पर भारत की अदालत ने अपना पक्ष रखा है और इस बात की काफ़ी भर्त्सना की है.

 

बांबे हाई कोर्ट की औरंगाबाद पीठ ने कहा है कि इस साल मार्च में दिल्ली में हुए तब्लीगी जमात के कार्यक्रम में आए विदेशी जमातियों पर कोविड-19 महामारी फैलाने का आरोप लगाकर उन्हें बलि का बकरा बनाया गया। हाई कोर्ट ने यह टिप्पणी कुछ जमातियों की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए की और उनके विरुद्ध दर्ज एफआइआर को खारिज कर दिया।

न्यायमूíत टीवी नलावड़े एवं एमजी शेवलीकर ने इस मामले को बढ़ा-चढ़ाकर पेश करने के लिए प्रचार माध्यमों को भी फटकार लगाई है। उन्होंने अपने 56 पृष्ठों के फैसले में कहा है कि प्रिंट एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया ने मामले को ऐसे पेश किया, जैसे तब्लीगी जमात के कार्यक्रम में आनेवाले विदेशी ही देश में कोविड-19 संक्रमण फैलाने के लिए जिम्मेदार हों।GulfHindi.com

बिहार से हूँ। बिहार होने पर गर्व हैं। फर्जी ख़बरों की क्लास लगाता हूँ। प्रवासियों को दोस्त हूँ। भारत मेरा सबकुछ हैं। Instagram पर @nyabihar तथा lov@gulfhindi.com पर संपर्क कर सकते हैं।

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