नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट (जेवर) के शुरू होने का इंतजार कर रहे लोगों के लिए नई समयसीमा सामने आई है। इस वर्ल्ड क्लास एयरपोर्ट का औपचारिक उद्घाटन अब जनवरी 2026 में किया जाएगा। इसी के साथ यहां से पहली पैसेंजर फ्लाइट्स के संचालन की भी शुरुआत हो जाएगी। इससे पहले इस प्रोजेक्ट के लिए दिसंबर 2025 का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन अब ऑपरेशन शुरू करने के लिए नई टाइमलाइन जनवरी तय की गई है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने तय की जनवरी 2026 की डेडलाइन, दिसंबर के बजाय अब नए साल में शुरू होंगी पैसेंजर फ्लाइट्स
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में परियोजना की समीक्षा करते हुए स्पष्ट किया है कि नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट का उद्घाटन जनवरी 2026 में होगा। पहले 9 से 15 दिसंबर 2025 के बीच प्रधानमंत्री द्वारा इसके लोकार्पण की संभावनाएं जताई जा रही थीं, लेकिन अब यह कार्यक्रम अगले साल जनवरी के लिए निर्धारित किया गया है। इसका मतलब है कि यात्रियों को जेवर से उड़ान भरने के लिए नए साल के पहले महीने तक का इंतजार करना होगा।
सालाना सवा करोड़ यात्रियों की क्षमता वाला टर्मिनल और 3900 मीटर लंबा रनवे बनकर तैयार, एटीसी टॉवर का काम भी पूरा
एयरपोर्ट के पहले चरण (फेज-1) का निर्माण कार्य लगभग पूरा हो चुका है। यहां 3,900 मीटर लंबा रनवे और एक अत्याधुनिक टर्मिनल बिल्डिंग बनाई गई है। इस टर्मिनल की क्षमता सालाना लगभग 1.2 करोड़ यात्रियों को संभालने की होगी। इसके अलावा, रनवे, टैक्सी-वे, एटीसी (ATC) टावर, पार्किंग एरिया, टर्मिनल स्ट्रक्चर, बैगेज सिस्टम और ई-गेट्स जैसे महत्वपूर्ण इन्फ्रास्ट्रक्चर का काम भी अपने अंतिम चरण में है, जो इसे ऑपरेशन के लिए तैयार बनाता है।
इंडिगो और एयर इंडिया एक्सप्रेस जैसी कंपनियों के साथ मुंबई-हैदराबाद समेत 10 शहरों के लिए शुरू होंगी सीधी उड़ानें
शुरुआत में नोएडा एयरपोर्ट से घरेलू उड़ानों (डोमेस्टिक फ्लाइट्स) और कार्गो ऑपरेशन पर फोकस रहेगा। अकासा एयर (Akasa Air), इंडिगो (IndiGo) और एयर इंडिया एक्सप्रेस (Air India Express) जैसी प्रमुख एयरलाइंस पहले फेज में यहां से अपनी सेवाएं शुरू करने के लिए तैयार हैं। प्रारंभिक योजना के अनुसार, यहां से मुंबई, हैदराबाद, कोलकाता जैसे देश के करीब 10 प्रमुख शहरों तक सीधी कनेक्टिविटी दी जाएगी, जिससे दिल्ली-एनसीआर के यात्रियों को बड़ा विकल्प मिलेगा।
स्विट्जरलैंड की कंपनी ज्यूरिख एयरपोर्ट के हाथों में है कमान, 29 हजार करोड़ के प्रोजेक्ट से बदलेगी पश्चिमी यूपी की तस्वीर
यह पूरा प्रोजेक्ट पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) मॉडल पर विकसित किया जा रहा है। इसका निर्माण यमुना इंटरनेशनल एयरपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड कर रही है, जो स्विट्जरलैंड की कंपनी ज्यूरिख एयरपोर्ट इंटरनेशनल एजी की 100% सब्सिडियरी है। चार चरणों में बनने वाले इस पूरे प्रोजेक्ट की अनुमानित लागत लगभग 29,650 करोड़ रुपये है। केवल पहले चरण में ही रनवे, टर्मिनल और रोड-कनेक्टिविटी विकसित करने पर 10,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश किया गया है।
दिल्ली के आईजीआई एयरपोर्ट का लोड होगा कम, एक्सप्रेसवे और मेट्रो कनेक्टिविटी से लॉजिस्टिक्स हब बनेगा यह क्षेत्र
जेवर एयरपोर्ट के शुरू होने से सबसे बड़ा फायदा दिल्ली के इंदिरा गांधी इंटरनेशनल (IGI) एयरपोर्ट को होगा, जिस पर यात्रियों का भारी दबाव कम हो जाएगा। इसके अलावा नोएडा, ग्रेटर नोएडा, गाज़ियाबाद, बुलंदशहर, अलीगढ़, आगरा और मथुरा जैसे शहरों के यात्रियों को अब विदेश या देश के अन्य कोनों में जाने के लिए दिल्ली नहीं जाना पड़ेगा। यमुना एक्सप्रेसवे और ईस्टर्न पेरीफेरल एक्सप्रेसवे के साथ-साथ भविष्य में आने वाली रैपिड रेल कनेक्टिविटी इस क्षेत्र को एक बड़े एविएशन और इंडस्ट्रियल हब के रूप में स्थापित करेगी।




