12 जून 2025 को अहमदाबाद में बड़ा विमान हादसा हो गया. इस हादसे में विमान में सवार 241 लोगों की जान चली गई. विमान अहमदाबाद से लंदन के लिए टेकऑफ किया था. लेकिन उड़ान भरने के चंद 2-3 मिनट के भीतर ही इतना भयावह हादसा हो गया. इस हादसे में बहुत लोगों ने अपने प्रियजनों को खो दिया.
इनमें से ही केरल के रहने वाले दुबई निवासी सुनीश श्रीवल्सम भी हैं. इस हादसे में उन्होंने अपनी भाभी भी सवार थीं. उनकी मौत ने पूरे परिवार को एक बार फिर से दुखी कर दिया है. सुनीश ने रोते हुए कहा कि मैं उन्हें एयरपोर्ट पर रिसीव करने वाला था. लेकिन अब हमें उनका पार्थिव शरीर ही मिलेगा.
साल 2010 में विमान हादसे में बड़े भाई की हुई थी मौत
ऐसा पहली बार नहीं है जब विमान हादसे ने सुनीश श्रीवल्सम के परिवार पर कहर बरपाया हो. इससे पहले भी 22 मई 2010, मैंगलोर एयरपोर्ट पर एयर इंडिया एक्सप्रेस फ्लाइट (IX812) रनवे से फिसलकर खाई में जा गिरी थी. इस भीषण हादसे में सुनीश के बड़े भाई विजेश कोवल (Vijesh Kovval) की मौत हो गई थी. दोनों ही बार सुनीश को एयरपोर्ट से अपनों को रिसीव करने जाना था, लेकिन वह एयरपोर्ट पर सिर्फ मौत की खबर लेकर लौटे.
15 साल बाद फिर ताजा हुए जख्म
रुंधे हुए गले से सुनीश ने कहा जब कोई चला जाता है, तो वो फिर कभी लौटकर नहीं आता. विजेश हम तीन भाइयों में सबसे बड़े थे. दूसरे भाई, विनेश, कतर में काम करते हैं. मैं उस दिन को आज भी नहीं भूल पाया हूं. वो 22 मई 2010 का मनहूस दिन आज भी वैसा ही ताज़ा लगता है — जैसे बस कल की बात हो. विजेश उस वक्त केवल 31 साल के थे. 15 साल बाद भी, हमारे दिल का एक हिस्सा यह मानने को तैयार नहीं कि विजेश अब नहीं हैं. हम आज भी कभी-कभी सोचते हैं कि वो कहीं हैं — यही बताता है कि यह दुख कितना गहरा है. उस दिन भी मैं चुप था… और आज भी, मुझे नहीं पता क्या कहूं. विजेश की असमय मौत ने उनके परिवार की जिंदगी की दिशा ही बदल दी. अब, जब 2025 में एक और हादसे में उनकी भाभी की भी जान चली गई — तो सुनीश और उनका परिवार फिर उसी अंधेरे में लौट आया.




