जाली जन्म प्रमाण पत्र बनाकर उससे आधार कार्ड बनाने वाले गिरोह का जाल पश्चिमी यूपी में फैला हुआ है। पुलिस को बुलंदशहर और गाजियाबाद के फर्जी कागजात मिले हैं तो शामली, मेरठ, मुजफ्फरनगर के आधार कार्ड भी फर्जीवाड़ा करके बनाए जाने की जानकारी मिली है। पुलिस को फर्जी आधार कार्ड से पासपोर्ट भी बनवाए जाने की जानकारी मिली है, जिनके बारे में पता लगाया जा रहा है।
बागपत कोर्ट रोड पर दानिश जन सेवा केंद्र मे यह पूरा फर्जीवाड़ा चल रहा था। इससे जुड़े गिरोह के सदस्य यूपी के अन्य जिलों में भी मौजूद हैं और वह अपने जिलों से फर्जी आधार कार्ड बनवाने वालों को बागपत में दानिश जन सेवा केंद्र पर भेजते थे। यहां दानिश व उसका भाई मोहसीन पहले फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाते थे फिर उससे ताहिर, साहिल व विशाल साथ मिलकर फर्जी आधार कार्ड बनाते थे।
नकली आधारकार्ड के लिए वसूलते थे मोटी रकम
इसके लिए एक जन्म प्रमाण पत्र व आधार कार्ड के दो हजार रुपये तक वसूलते थे। पिछले कई साल से यह फर्जीवाड़ा चल रहा है और इस तरह सैकड़ों फर्जी आधार कार्ड अभी तक बनाए गए हैं। एसपी बागपत के अनुसार यह गिरोह केवल बागपत तक सीमित नहीं था, बल्कि आसपास के काफी जिलों से इनके पास लोग आकर फर्जी आधार कार्ड बनवाते थे। जिनके कागजात भी बरामद किए गए हैं और अब उन सभी की छानबीन की जाएगी, जिनसे इन लोगों ने आधार कार्ड बनवाए हैं।
वकील बताकर बनाता था दबाव, पुलिस अब बार काउंसिल को पत्र भेजेगी
जन सेवा केंद्र चलाने वाला दानिश स्वंय एक वकील है। जिसपर पिछले साल निकाय चुनाव के समय नकली आधार कार्ड बनाकर वोट बनाने का आरोप लगा था और पुलिस की छापे मारी मे काफी सामग्री बरामद की थी। इसके बाद भी पुलिस दानिश को गिरफ्तार नहीं कर सकी। इसके अलावा उसपर और भी कई मुकदमे दर्ज हुए, जिनमें से किसी में भी वह अभी तक गिरफ्तार नहीं हुआ। वह वकील बनकर पुलिस पर दबाव बनाता था और मुकदमे दर्ज होने के बाद भी थाने में घूमता था। एसपी अर्पित विजयवर्गीय ने बताया कि इसका पता कराया जा रहा है कि दानिश और किसी भी अन्य बिजनेस मे अपने नाम से करता है या नहीं, ऐसा है तो उसके खिलाफ बार काउंसिल को पत्र भेजा जाएगा।