ग्रेटर नोएडा में एक बड़ा फैसला लिया गया है। बोर्ड की बैठक में मल्टीमॉडल ट्रांसपोर्ट हब को मेट्रो लाइन और रेलवे से जोड़ने का रास्ता मंजूर हुआ। प्रस्तावों में 20 मुख्य प्रस्ताव पास किए गए और इस परियोजना को मास्टर प्लान 2041 में शामिल कर लिया गया।
अधिकारियों ने बताया कि बैठक की अध्यक्षता विकास आयुक्त और नोएडा–ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के चेयरमैन दीपक कुमार ने की। बोर्ड के 141वें सेशन में हब से जुड़ी योजनाओं को हरी झंडी मिली। मेट्रो के लिए नया रूट और लॉजिस्टिक्स पार्क की व्यवस्था तय की गई है।
इससे उद्योगों और माल ढुलाई पर असर दिखेगा। मुम्बई‑कोलकाता मार्ग के बीच कंटेनर और सामान भेजना आसान होगा। प्रोडक्शन यूनिट्स को तेज सप्लाई चेन मिलेगी और वेयरहाउसिंग की सुविधा बढ़ेगी। डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर से भी कनेक्टिविटी जोड़ी जा रही है, जिससे लॉजिस्टिक्स का काम सुगम होगा।
काम की डिटेल छोटी वाक्यों में: मल्टीमॉडल ट्रांसपोर्ट हब 398 एकड़ में बनेगा। लॉजिस्टिक्स सिटी 800 एकड़ में विकसित होगी। मेट्रो का नया रूट लगभग 1.8 किलोमीटर लंबा होगा और डिपो से हब तक सीधे कनेक्ट करेगा। बोर्ड ने तीन बड़ी परियोजनाओं पर काम जारी रखने को कहा।
आगे क्या होगा: परियोजना अब मास्टर प्लान में होने के कारण आगे की औपचारिकताएँ और टेंडर प्रक्रिया शुरू होगी। जमीन तैयारी, निर्माण और कनेक्टिविटी काम क्रमवार होने की संभावना है। समय‑सीमा और चरणबद्ध काम की जानकारी बाद में दी जाएगी।
- बोर्ड ने मल्टीमॉडल हब को मेट्रो और रेलवे से जोड़ने का प्रस्ताव मंजूर किया।
- मेट्रो का नया रूट लगभग 1.8 किमी लंबा रखा गया है।
- 398 एकड़ में ट्रांसपोर्ट हब और 800 एकड़ में लॉजिस्टिक्स सिटी बनेगी।
- डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर से भी कनेक्टिविटी जोड़ने की तैयारी है।
- यह योजना मास्टर प्लान 2041 में शामिल कर दी गई है।




